Prashan Jyotish Shastra Book/प्रश्न ज्योतिष शास्त्र पुस्तक : Prashan Jyotish Shastra Book is an important book of astrology, in which information about jyotish shastra.
Prashan Jyotish Shastra Book About:
Question Astrology is the philosophy of astrology based on a specific question, through which we get the knowledge of easy result at a particular time. All the calculations are based on the chart or horoscope created at the time taken in this study. Therefore, the basic foundation of this Vidya depends on the timings of Question Horoscope (i.e. horoscope created at the time of asking). Once, if you get the right timings, the rest of the house is given in the house or in the said time houses given in the almanac. Once the horoscope becomes correct, then the solution of the question asked according to the different quotes is drawn on the basis of the zodiac sign, house, sight, etc. -Prashan Jyotish Shastra Book.
Since it does not have to be the horoscope of the questioner, it is a very profitable education for them whose horoscope has not been created for some reason. Suppose a person is eager to know the consequences of his test. At the same time, when he has asked this question, the timings will be determined and his horoscope will be made and the future statement will be made on the basis of the special gesture. Its instant astrology is also why it is said that you get the result in the coming time. -Prashan Jyotish Shastra Book.
There is no need of special time to make the question horoscope. It can be made at any time. But from experience, it seems that after sunset, the fate is not accurate after sunset. The reason, it is addictive. Sandhikal means that the time when an effect loses its effect and the second effect has not yet started. However, these rules also apply to every wedding, which has been given a longstanding explanation. However, some precautions are expected which have been further clarified. It is very necessary to have a calm and stable mind to calculate and accurately calculate astrology. Astrology is not mere calculations and their correct analysis. Astrologer can not accurately predict without experience and power. -Prashan Jyotish Shastra Book.
प्रश्न ज्योतिष शास्त्र पुस्तक/Prashna Jyotish Shastra Book
प्रश्न ज्योतिष शास्त्र, यह एक महत्वपूर्ण पुस्तक है, जिसमे ज्योतिष शास्त्र के बारे में जानकारी दी गई है।।
प्रश्न ज्योतिष शास्त्र पुस्तक के बारे में..
प्रश्न ज्योतिष किसी विशिष्ट प्रश्न पर आधारित ज्योतिष की वह विद्या है जिसके द्वारा हम किसी विशिष्ट समय पर आसान फल का ज्ञान प्राप्त करते है। इस विद्या में सारी गणना पूछे गये समय पर बनाये गये चार्ट या कुंडली पर आधारित होती है। इसलिए इस विद्या का मूल आधार प्रश्न कुण्डली (अर्थात् पूछे गए समय पर बनाई गयी कुंडली) के लग्न पर निर्भर करता है। यदि एक बार सही लग्न प्राप्त कर ली तो बाकी पंचांग में दिए गए उक्त समय के घरों में अवस्थित कर दिए गए हैं। एक बार कुण्डली सही बन जाए तो विभिन्न भावों के अनुसार पूछे गए प्रश्न का हल राशि-गृह, दृष्टि संबंध इत्यादि के आधार पर निकाला जाता है। चूंकि इसके लिए प्रश्नकर्ता की जन्मकुंडली होना आवश्यक नहीं है इसलिए यह उनके लिए बेहद लाभदायक विद्या है जिनकी जन्मकुंडली किसी कारण से बन ही नहीं पाई हो। मान लीजिये किसी जातक को अपने इम्तहान के नतीजों को जानने की उत्कंठा है। तो जिस समय उसने यह प्रश्न पूछा हो उसी समय लग्न-निर्धारित कर उसकी कुंडली बनाई जाएगी और भाव विशेष के आधार पर भविष्य कथन किया जायेगा। इसके इन्स्टेंट ज्योतिष या तुरन्ता ज्योतिष इसलिए भी कहते हैं क्यों इसमें तुरन्त आपको आने वाले समय में फल की सुचना मिल जाती है। -Prashan Jyotish Shastra Book.
प्रश्न कुंडली बनाने के लिए किसी खास समय की दरकार नहीं है। यह कभी भी बनाई जा सकती है। परन्तु अनुभव से ऐसा प्रतीत होता है कि सूर्योदय के पूर्व ओर सूर्यास्त के पश्चात् फलित अचूक नहीं रहता। कारण, वह संधिकाल होता है। संधिकाल का अर्थ है वह समय जब एक प्रभाव अपना असर खो दे और दुसरे प्रभाव अभी प्रारंभ भी ना हो पाया हो। वैसे तो ये नियम हर लग्न के लिए भी लागू होता है जिसके बारे में सुदीर्घ विवेचना आगे की गई है। बहरहाल कुछ सावधानियाँ अपेक्षित हैं जो आगे स्पष्ट ही गई है। ज्योतिष की गणनाएं और उनका सही आकलन करने के लिए शान्त एवम् स्थिर चित्त होना बेहद आवश्यक है। ज्योतिष मात्र गणनाएं और उनका सही विश्लेषण ही नहीं है। अनुभव और इलहाम (जिसे अंग्रेजी में इंट्यूशन या संस्कृत में अंतश्चेतना भी कहा जाता है) शक्ति के बगैर ज्योतिषी सही भविष्यवाणी नहीं कर सकता। -Prashan Jyotish Shastra Book.
Prashan Jyotish Shastra Book Details:
Book Author: Dr. Jayprakash Sharma
Language: Hindi
Weight: 298 gm Approx.
Pages: 160 Pages
Size: “21.5” x “13.5” x “1.5” cm
Shipping: Within 4-5 Days in India
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