Ratn Parichay-Chikitsa Vigyan Book/रत्न परिचय-चिकित्सा विज्ञान पुस्तक : Ratn Parichay Aur Chikitsa Vigyan Book is an important book, in which information about gemstones is hidden.
Ratn Parichay-Chikitsa Vigyan Book About:
In today’s rapidly moving society every creature wants to reach the peak of development by leaping at uninterrupted speed. All the persons want to reach their peak at the peak without the progress of their labour point. For this, he wants to achieve his goal by wearing mantra, instrument of machinery and gems, in place of labour. Doing so is not a crime, but whatever is done with full faith and perseverance, surely a person can reach his goal while crossing all obstacles. To overcome the obstacles of your planet and for the success of the voluntary work, man has been carrying Gems from very ancient times. Today you are seeing the fact that most people are holding one or two gems, and then some people in the world are also those who are holding different gems in their fingers. -Ratn Parichay Aur Chikitsa Vigyan Book.
The main thing is that they are still sad, they struggle with many difficulties, why so? Perhaps you think that these gems are not effective. It does not happen that is because they are either holding fake gems, the gems are faulty or are not held duly. It may also be that they have not taken the right gems related to their planet. In this book, you will get the correct information about gems, which gemstone should be held and the method of holding has been written in this book, much information related to the right gems. Also, what is the significance of gems in the medical field is also written. -Ratn Parichay Aur Chikitsa Vigyan Book.
The equipment related to gems and their planet has also been given which has increased the utility of this book. With the help of this book, the interested person will be able to avail the benefits of choosing the right gem for him according to the method described and the common man will also benefit from the wearing of these gems. -Ratn Parichay Aur Chikitsa Vigyan Book.
रत्न परिचय-चिकित्सा विज्ञान पुस्तक/Ratn Parichay-Chikitsa Vigyan Book
रत्न परिचय और चिकित्सा विज्ञान, यह एक महत्वपूर्ण पुस्तक है, जिसमें रत्नों के बारे में बताया गया है।
रत्न परिचय-चिकित्सा विज्ञान पुस्तक के बारे में:
आज के तेजी से आगे बढ़ते हुए समाज में हर एक प्राणी अबाध गति से छलांग लगाकर विकास की उच्च शिखर पर पहुचना चाहता है। सभी व्यक्ति अपने श्रम बिन्दुओ को बिना टपकाये उन्नति के शिखर पर पहुचना चाहता है। इसके लिए वह परिश्रम के स्थान पर मन्त्र, यंत्र- तंत्र के टोटके तथा रत्नों आदि को धारण करके अपने लक्ष्य को प्राप्त करना चाहते है। ऐसा करना कोई अपराध तो नही है लेकिन जो कुछ भी किया जाये, पूर्ण विश्वास और लगन के साथ किया जाये तो निश्चय ही मनुष्य सभी बाधाओं को पार करते हुए अपने लक्ष्य पर पहुच सकता है। अपनी ग्रह बाधाओं को दूर करने के हेतु व ऐच्छिक कार्य की सफलता के लिए मनुष्य को रत्न धारण अति प्राचीन काल से ही करता आया है। आज आप साक्षात् देख रहे है की अधिकांश मनुष्य एक या दो रत्नों को धारण किये हुए है तो संसार में कुछ व्यक्ति तो ऐसे भी होते है जो अपनी सभी अंगुलियो की अंगूठियो में विभिन्न रत्नों को धारण किये हुए है। मुख्य बात यह है की फिर भी ये दु:खी रहते है, अनेक कठिनाइयों से संघर्ष करते रहते है, ऐसा क्यों? शायद आप ये सोचते होंगे की ये रत्न प्रभावकारी नही होते। ऐसा नही होता है ऐसा इसलिए होता है की या तो वे नकली रत्न धारण किये हुए होते है, रत्न दोषपूर्ण होते है अथवा विधिवत धारण किये हुए नही होते है। यह भी हो सकता है की उन्होंने अपने ग्रह से सम्बंधित सही रत्न को धारण न किया हो। -Ratn Parichay Aur Chikitsa Vigyan Book.
इस पुस्तक में आपको रत्नों के बारे में सही जानकारी मिलेगी कौन सा रत्न किसे धारण करना चाहिये और धारण करने की विधि सही रत्नों से सम्बंधित अनेकानेक जानकारियों को इस पुस्तक में लिखा गया है। साथ ही रत्नों का चिकित्सा क्षेत्र में क्या महत्त्व है ये भी लिखा गया है। रत्न और उनके ग्रह से सम्बंधित यंत्र भी दिए गया है जिससे इस पुस्तक की उपयोगिता बढ़ी है। इस पुस्तक की सहायता से इच्छुक व्यक्ति अपने लिए उचित रत्न का चयन करके वर्णित विधि के अनुसार धारण कर लाभ उठा सकेंगे साधारण मनुष्य की भी इन रत्नों को धारण करने से लाभ प्राप्त होगा। -Ratn Parichay Aur Chikitsa Vigyan Book.
Ratn Parichay Aur Chikitsa Vigyan Book Details:
Book Publisher: Randhir Prakashan
Book Author: Dr. Ramkrishna Upadhyay
Language: Hindi
Weight: 121 gm Approx.
Pages: 160 Pages
Size: “18” x “12” x “1” cm
Edition: 2009
Shipping: Within 4-5 Days in India
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