Rudraksha Pehniye Book/रुद्राक्ष पहनिये पुस्तक
Rudraksha Pehniye (रुद्राक्ष पहनिये पुस्तक) is an important book for fortune-changing, Rudraksha Pehniye Book is not easily available, this book is written by CM Shrivastava, Rudraksha Pehniye Book is published by Mahamaya Prakashan, Jalandhar, This book contains 126 pages.
Rudraksha Pehniye Book Content list:
According to the content list of the Rudraksha Pehniye Book, the contents are duly expressed in a simple language for the convenience of the readers. The matters are mentioned hereunder. Origin of Rudraksha, characteristic of Rudraksha, location of Rudraksha and its usefulness, differences of Rudraksha, assay of Rudraksha, Ekumukhi Rudraksha, Doomukhi Rudraksha, Teenmukhi Rudraksha, Charmukhi Rudraksha, Panchmukhi Rudraksha, Sixmukhi Rudraksha, Satmukhi Rudraksha, Eightamukhi Rudraksha, Naumukhi Rudraksha , Tenmukhi Rudraksha, elevenmukhi Rudraksha, twelvemukhi Rudraksha, terahamukhi Rudraksha, chaudahamukhi Rudraksha where to wear, Shivarchan Process, share in virtues, holding of Rudraksha and the rules Puja, curing through Rudraksha, seeker, accomplishment and ways, effects of Rudraksha in various zodiac signs and planetary movements etc. are detailed in a big way which Is an important part of this Rudraksha Pehniye Book.
Rudraksha Pehniye Book Benefits:
- By reading this Book, one gets important information about Rudraksha.
- By reading this Book, you can understand the importance of Rudraksha.
- Rudraksha Pehniye Book, you can fix your destiny by reading the book.
Rudraksha Pehniye Book Description:
One day in the past, when Lord Shiva opened both his eyes, some drops of water fell from his eyes, from which a tree named Rudraksha was produced. Therefore, Rudraksha is considered to be a penetrator of sin groups and an inspiration to Shrutis. Rudraksha is one of the most loved objects of Shiva. He found it so interesting that he started dwelling in its grains as his subtle power. This is the reason why people worship Rudraksha like Shivling. The person wearing Rudraksha is protected from all physical and divine disasters. It has unique preventive power. Its amazing power provides mental peace, and a person becomes full of wealth, splendor and health. The beads made from its grains are considered best for chanting.
रुद्राक्ष पहनिये पुस्तक/Rudraksha Pehniye Book
रुद्राक्ष पहनिए भाग्य बदलिए एक महत्वपूर्ण पुस्तक है, रुद्राक्ष पहनिए भाग्य बदलिए पुस्तक आसानी से उपलब्ध नही होती, यह पुस्तक सी. एम. श्रीवास्तव जी के द्वारा लिखी हुई है, इस रुद्राक्ष पहनिए भाग्य बदलिए पुस्तक को महामाया प्रकाशन, जालन्धर ने प्रकाशित किया है, इस पुस्तक में 126 पृष्ठ(पेज) है।
रुद्राक्ष पहनिये पुस्तक/Rudraksha Pehniye Book की विषय सूचि:
रुद्राक्ष पहनिए भाग्य बदलिए पुस्तक में विषय सूचि अनुसार- उत्पत्ति रुद्राक्ष की, रुद्राक्ष की विशेषता, रुद्राक्ष के प्राप्ति स्थान तथा उसकी उपयोगिता, रुद्राक्ष के भेद, रुद्राक्ष की परख, एकमुखी रुद्राक्ष, दोमुखी रुद्राक्ष, तीनमुखी रुद्राक्ष, चारमुखी रुद्राक्ष, पञ्चमुखी रुद्राक्ष, छहमुखी रुदाक्ष, सातमुखी रुद्राक्ष, आठमुखी रुद्राक्ष, नौमुखी रुद्राक्ष, दसमुखी रुद्राक्ष, ग्यारहमुखी रुद्राक्ष, बारहमुखी रुद्राक्ष, तेरहमुखी रुद्राक्ष, चौदहमुखी रुद्राक्ष, रुद्राक्ष कहां धारण करें?, शिवार्चन विधि, पुण्य फल के भागी, रुद्राक्ष धारण एवं पूजन के नियम, साधक, साधना और साधन, रुद्राक्ष द्वारा रोगोपचार के बारे में विस्तार रूप से बताया गया है, जोकि रुद्राक्ष पहनिए भाग्य बदलिए पुस्तक के महत्वपूर्ण अंग है।
रुद्राक्ष पहनिए पुस्तक/Rudraksha Pehniye Book के लाभ:
- रुद्राक्ष पहनिए भाग्य बदलिए पुस्तक को पढ़ने से रुद्राक्ष के बारे में महत्वपूर्ण जानकारी मिलती है।
- रुद्राक्ष पहनिए भाग्य बदलिए पुस्तक को पढ़कर आप रुद्राक्ष के महत्व को समझ सकते है।
- रुद्राक्ष पहनिए भाग्य बदलिए पुस्तक को पढ़कर आप अपने भाग्य को ठीक कर सकते है।
रुद्राक्ष पहनिए पुस्तक/Rudraksha Pehniye Book का विवरण:
पूर्वकाल में एक दिन लीलावश भगवान शिव ने जब अपने दोनों नेत्र खोले, तो नेत्रों से कुछ जल की बूंदे गिरी, उनसे ही रुद्राक्ष नामक वृक्ष उत्पन्न हुआ। इसलिए रुद्राक्ष पाप समूहों का भेदन करने वाले तथा श्रुतियों के प्रेरक माने जाते है। रुद्राक्ष शिवजी की सर्वाधिक प्रिय वस्तुओं में से एक है। यह उन्हें इतना रुचिकर लगा कि वे इसके दानों में अपनी सूक्ष्म शक्ति के रूप में निवास करने लगे। इसी कारण लोग रुद्राक्ष को शिवलिंग की भांति पूजते है। रुद्राक्ष धारण करने वाला व्यक्ति भौतिक और दैविक सभी आपदाओं से सुरक्षित रहता है। इसमें अद्वितीय रोग निवारक शक्ति निहित है। इसकी अद्भुत शक्ति मानसिक शान्ति प्रदान करती है, तथा व्यक्ति धन, वैभव एवं आरोग्य से परिपूर्ण हो जाता है। इसके दानों से बनी माला जप के लिए सर्वश्रेष्ठ मानी जाती है।
Rudraksha Pehniye Book Details:
Book Publisher: Mahamaya Publication
Book Author: C M Shrivastava
Language: Hindi
Weight: 0.250 gm Approx.
Pages: 126 Pages
Size: “21” x “14” x “0.5” cm
Shipping: Within 4-5 Days in India
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