Shwetark Ganpati Ke Labh/श्वेतार्क गणपति के लाभ
Shwetark Ganpati Ke Labh (श्वेतार्क गणपति के लाभ) : Shwetark Ganapati is a very important medicine according to Tantra Shastra, which is the Deity of Lord Ganesha. According to the botanical system, there are two types of Aak, one is green and another is white. The green one is seen everywhere but white is not seen everywhere.
Shwetark is called Aak or Madar in the rural language, white flower comes on the white aak tree and hence it is called Shwetark.
Idol of Shwetark Ganapati:
The biggest feature of the white tree is that after 8 years, the idol of Ganesha ji is automatically created in the root of this white tree, this statue is made from the root of white tree, which is called the Shwetark Ganapati.
How to Fetch Shwetark Ganapati:
To fetch the symbol of Shwetark, first of all, see if the tree of Aak is 8 years old or not, then the Shwetark should be removed, if it is not 8 years, then the statue of Ganapati will not be formed.
To fetch the idol, on any Wednesday, worship the root of the Shwetark with water, Akshat, flowers, ghee lamp, incense sticks, then invite the whitewashed tree to ask for your statue, please give me Darshan, saying that the next day, pay attention to the digging of the root of the Shwetark tree, a snake can occur in the root of the white Aak tree.
As soon as the Ganapati is seen, take out the idol with the help of a wood, for this, a knife can be used, after removing it, wrap it in a yellow cloth, keep it in your place of worship, and take coach grass, water, turmeric, lamp to worship with.
The idol of Shwetark Ganapati:
According to the Tantra Texts, it is not so easy to consecrate the Shwetark Ganapati statue, Shwetark Ganapati is proved to be energized only by Tantra Kriya, in which Ganesha Beej Mantras are used.
Siddha seekers of Astro Mantra have prepared the Shwetark Ganapati idol with Ganesha Beej Mantras on Siddha Muhurt like Shiva Ratri, Holi night, Eclipse Night and proven and energized , which can be easily available to all.
Shwetark Ganpati Benefits/Shwetark Ganpati Ke Labh:
The chanting the Mantra “Om Gan Ganpataye Namah” oblation of 108 rice on Shwetark Ganapati eliminates all distress, and fulfils the desire.
In whose house there is the idol of Shwetark Ganapati (Shwetark Ganpati Benefits), there cannot be any sorrow, poverty and poverty.
The installation of the Shwetark Ganapati (Shwetark Ganpati Ke Labh) statue at home achieves all the success.
According to the Damar Tantra, if the name of the enemy is immersed in water by writing the name of the enemy on the white sheet in front of Shwetark Ganapati (Shwetark Ganpati Ke Labh), then all the enemies are destroyed.
By reciting the Sankat Ganapati Stotra by offering turmeric, rice, coach grass, sandalwood and incense, etc. on the statue of Shwetark Ganapati (Shwetark Ganpati Ke Labh), gives success in all works.
Continually offering Coach grass to the idol of Shwetark Ganapati (Shwetark Ganpati Ke Labh) brings wealth, grain, Lakshmi, happiness, good fortune, prosperity and happiness.
Sitting on a yellow seat in front of the idol of Shwetark Ganapati, chanting “Om Namo Vighanaharaya Gan Ganapataye Namah” mantra brings peace to the evil planets.
Worship of Shwetark Ganapati:
Put vermilion on the idol of Shwetark Ganapati (Shwetark Ganpati Ke Labh), install it on the yellow posture in the north direction of the house, offer the intact, yellow flower, sun, lamp, lamp on the idol, chanting the following mantra 108 times while meditating on Sri Ganapati, after that Perform Ganapati Aarti.
|| Oum Namo Vighnaharaya Gan Ganapataye Namah ||
|| ॐ नमो विध्नहराय गं गणपतये नमः||
श्वेतार्क गणपति के लाभ/Shwetark Ganpati Ke Labh
श्वेतार्क गणपति (Shwetark Ganpati Ke Labh) तंत्र शास्त्र अनुसार एक बहुत ही महत्वपूर्ण औषधि है, जोकि साक्षात् भगवान श्री गणेश का विग्रह है, वनस्पति तंत्र अनुसार आक दो प्रकार के पाये जाते है, एक हरा आक और दूसरा सफ़ेद आक, हरा आक सामान्य तौर पर हर जगह देखने को आसनी से मिल जाता है, पर सफेद आक या श्वेत आक हर जगह देखने को नही मिलता।
श्वेतार्क को ग्रामीण भाषा में आक या मदार कहा जाता है, श्वेतार्क के वृक्ष पर सफेद पुष्प आते है इसलिए इसे श्वेतार्क कहा जाता है।
श्वेतार्क गणपति की प्रतिमा:
श्वेतार्क के वृक्ष की सबसे बड़ी खासियत यह है, की इस श्वेतार्क वृक्ष की जड़ में 8 वर्ष के बाद स्वत: ही गणेश जी, की प्रतिमा बन जाती है, यह प्रतिमा श्वेतार्क की जड़ से बनी होती है, जिसको श्वेतार्क गणपति(Shwetark Ganpati Ke Labh) कहा जाता है।
श्वेतार्क गणपति की प्रतिमा कैसे निकालें?
श्वेतार्क(Shwetark Ganpati Ke Labh) की प्रतीक को निकलने के लिए सबसे पहले ये देख ले, की श्वेतार्क का वृक्ष 8 साल पुराना है या नही, तभी श्वेतार्क गणपति को निकलना चाहियें, यदि 8 वर्ष नही हुए है, तो श्वेतार्क की प्रतिमा नही बनती।
प्रतिमा को निकालने के लिए किसी भी बुधवार के दिन प्रात: काल जल, अक्षत, पुष्प, घी का दीपक, अगरबत्ती से श्वेतार्क की जड़ की पूजा करे इसके बाद श्वेतार्क के वृक्ष को निमंत्रण दे की में, आपकी प्रतिमा पाना चाहता हूँ, कृपया आप मुझे दर्शन प्रदान करे, ऐसा कह कर अगले दिन श्वेतार्क के वृक्ष की जड़ को खोदे पर ध्यान रहे, श्वेतार्क की जड़ में सर्प हो सकते है।
श्वेतार्क के दर्शन होते ही, किसी लकड़ी से प्रतिमा को निकाल ले, इसके लिए चाकू का प्रयोग किया जा सकता है, निकालने के बाद, किसी पीले वस्त्र में लपेट कर, अपने पूजा स्थान में रखे और दूर्वा, जल, हल्दी, दीप-धुप से पूजन करे।
श्वेतार्क गणपति की मूर्ति/Shwetark Ganpati Ke Labh:
तंत्र शास्त्र अनुसार श्वेतार्क गणपति (Shwetark Ganpati Ke Labh) प्रतिमा को प्राण-प्रतिष्ठा करना इतना असान नही है, श्वेतार्क गणपति (Shwetark Ganpati Benefits) को तंत्र क्रिया से ही प्राण-प्रतिष्ठित सिद्ध किया जाता है, जिसमे गणेश बीज मंत्रों का प्रयोग होता है।
अस्त्रों मंत्रा के सिद्ध साधकों ने शिव रात्रि, होली रात्रि, ग्रहण रात्रि जैसे सिद्ध मुहूर्तो पर गणेश बीज मंत्रों से श्वेतार्क गणपति (Shwetark Ganpati Ke Labh) प्रतिमा को प्राण-प्रतिष्ठित सिद्ध करके तैयार किया है, जिसका लाभ सभी लोगों को आसानी से मिल सके।
श्वेतार्क गणपति के लाभ/Shwetark Ganpati Ke Labh:
श्वेतार्क गणपति (Shwetark Ganpati Ke Labh) की 108 चावल निम्न ‘ॐ गं गणपतये नमः’’ मन्त्र बोलते हुए चढाने से सभी संकट दूर होते है, और मनोकामना पूर्ण होती है।
जिसके घर में श्वेतार्क गणपति (Shwetark Ganpati Benefits) की प्रतिमा होती है, वहां दुःख संकट, दरिद्रता आ ही नही सकती।
श्वेतार्क गणपति की प्रतिमा को घर में स्थापित करने से सभी कार्यो सफलता प्राप्त होती है।
डामर तंत्र अनुसार यदि श्वेतार्क गणपति (Shwetark Ganpati Ke Labh) के सामने श्वेतार्क के पत्ते पर शत्रु का नाम लिख कर जल में विसर्जित कर दिया जाये तो, सभी शत्रुओं का नाश होता है।
श्वेतार्क गणपति (Shwetark Ganpati Ke Labh) की प्रतिमा पर हल्दी, चावल, दुब(घास) चन्दन तथा धूप, आदि अर्पित कर संकट गणपति स्तोत्र का पाठ करने से सभी कार्यो में सफलता मिलती है।
श्वेतार्क गणपति (Shwetark Ganpati Ke Labh) की प्रतिमा पर नित्य दुर्बा अर्पित करने से धन, धान्य, लक्ष्मी, सुख-सौभाग्य समृद्धि ऐश्वर्य और प्रसन्नता की प्राप्ति होती है।
श्वेतार्क गणपति (Shwetark Ganpati Ke Labh) की प्रतिमा के सामने पीले आसन पर बैठकर नित्य ‘‘ॐ नमो विध्नहराय गं गणपतये नमः’’मंत्र जाप करने से दुष्ट ग्रहों की शांति होती है।
श्वेतार्क गणपति की पूजा/Shwetark Ganpati Ke Labh:
श्वेतार्क गणपति (Shwetark Ganpati Ke Labh) की प्रतिमा पर सिंदूर लगा कर, घर के उत्तर दिशा में पीले आसन पर स्थापित करे, प्रतिमा पर अक्षत, पीले पुष्प, धुप,दीप, अर्पित कर, श्री गणपति का ध्यान करते हुए निम्न मन्त्र 108 बार का जाप करे, उसके बाद गणपति आरती करे।
|| ॐ नमो विध्नहराय गं गणपतये नमः||